बड़ी खबर: विधायक दिलीप रावत ने उठाई बंदरों और गुलदार के आतंक को लेकर विशेष सत्र की मांग

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विधानसभा सत्र के दूसरे दिन विपक्ष ने कानून व्यवस्था समेत अन्य कई मुद्दों को लेकर सरकार को घेरा
भराड़ीसैंण (उद ब्यूरो)। विधानसभा सत्र के दूसरे दिन विपक्ष ने कानून व्यवस्था समेत अन्य कई मुद्दों को लेकर सदन के बाहर और अंदर सरकार को घेरा। केंद्रीय जांच एजेंसियों का दुरुपयोग कर विपक्षी नेताओं के खिलाफ कार्रवाई करने के विरोध में कांग्रेस विधायकों ने विधानसभा के बाहर सीड़ियों में बैठकर धरना दिया। कांग्रेस नेताओं ने पूंजी पत्तियां के खिलाफ और सेबी प्रमुख के खिलाफ भी कार्रवाई करने की मांग की। प्रदर्शन में नेता प्रतिपक्ष यशपाल आर्य, विधायक भुवन कापड़ी, विधायक ममता राकेश, विधायक सुमित हृदयेश, आदेश चौहान समेत सभी विधायक मौजूद रहे। लैंसडाउन विधानसभा क्षेत्र के विधायक दिलीप रावत ने पर्वतीय क्षेत्रों में गुलदार के आतंक को लेकर विधानसभा के बाहर धरना दिया उनकी मांग है कि जंगली जानवरों  वन नीति के लिए एक दिन का विशेष विधानसभा सत्र बुलाया जाए। उधर सदन में भी विपक्ष ने कानून व्यवस्था के मुद्दे पर सरकार को घेरा। विपक्ष ने नियम 310 के तहत मामले पर चर्चा की मांग की। इस दौरान हंगामा भी हुआ। सत्र के दूसरे दिन दोपहर बाद प्रदेश सरकार पटल पर अनुपूरक बजट पेश करेगी। इसके अलावा तीन और विधेयक भी सदन में आएंगे। सदन में जेल एक्ट में संशोधन विधेयक, जमीदारी एवं भूमि विनाश अधिनियम में संशोधन विधेयक और खेल विवि विधेयक सदन पटल पर रखे जाने हैं। उत्तराखंड विधानसभा के मानसून सत्र के दूसरे दिन बृहस्पतिवार को प्रदेश सरकार सदन पटल पर अनुपूरक बजट पेश करेगी। इसके अलावा तीन और विधेयक भी सदन में आएंगे। वित्त मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल ने अपराह्न चार बजे पांच हजार करोड़ रुपये का अनुपूरक बजट पेश करेंगे। संसदीय कार्यमंत्री ने कहा, सदन में जेल एक्ट में संशोधन विधेयक, जमीदारी एवं भूमि विनाश अधिनियम में संशोधन विधेयक और खेल विवि विधेयक सदन पटल पर आएंगे। इनके अलावा बुधवार को सदन में पेश तीन अध्यादेश में संशोधन को लेकर भी विधेयक सदन पटल पर आएंगे।
विधायकों के भत्ते बढ़ाने के साथ कैशलेस इलाज की सुविधा देने की तैयारी है। सत्र के पहले दिन प्रदेश सरकार ने उत्तराखंड राज्य विधानसभा विविध संशोधन विधेयक को सदन पटल पर रखा था।विधेयक में विधायकों के कुछ भत्तों में संशोधन किया गया, जिसमें 30 हजार रुपये तक बढ़ोतरी की गई है। विधायकों के सदन और निर्वाचन क्षेत्र सेवा शर्ताें पर विचार करने के लिए तदर्थ समिति की सिफारिशों का प्रतिवेदन के साथ ही राज्य विस विविध संशोधन विधेयक पटल पर रखा। विधेयक में विधायकों की सुविधाएं बढ़ाने की सिफारिश की गई है।विधायक व पूर्व विधायक और उनके आश्रितों को कैशलेस इलाज देने की तैयारी है। यह भी प्रावधान किया गया कि वर्तमान और पूर्व विधायक के उपचार के लिए यदि एम्स विदेश में उपचार की सिफारिश करता है तो उसे विदेश में इलाज की सुविधा दी जाएगी।

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