अधिवक्ताओं ने फूंका दिल्ली पुलिस का पुतला

काशीपुर में अधिवक्ताओं ने एसडीएम को ज्ञापन सौंप जताया आक्रोश

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रूद्रपुर/काशीपुर,(उद संवाददाता)। दिल्ली स्थित तीस हजारी कोर्ट में गत दिवस पुलिस द्वारा अधिवक्ताओं के साथ की गयी मारपीट व फायरिंग करने की घटना से रोषित अधिवक्ताओं ने आज जिला बार एसोसिएशन के बैनर तले दिल्ली पुलिस के खिलाफ न्यायालय परिसर में जोरदार प्रदर्शन कर सभा आयोजित की जिसके पश्चात जुलूस के रूप में नारेबाजी करते हुए कलेक्ट्रेट के मुख्य द्वार पर पहुंचे जहां उन्होंने दिल्ली पुलिस के पुतले को आग के हवाले किया। अधिवक्ताओं ने कलेक्ट्रेट में राष्ट्रपति को सम्बोधित ज्ञापन भी सौंपा। इससे पूर्व जिला बार एसोसिएशन अध्यक्ष दिवाकर पांडे व सचिव नरेश रस्तोगी की अगुवाई में जिला न्यायालय के समक्ष सभी अधिवक्ता महात्मा गांधी की प्रतिमा के पास एकत्र हुए जहां उन्होंने तीस हजारी कोर्ट दिल्ली में हुई घटना की निंदा करते हुए कहा कि यह घटना जलियांवाला बाग जैसी जघन्य घटना की पुनरावृत्ति है। उन्होंने केंद्र सरकार से इस मामले की निष्पक्ष सीबीआई जांच कराकर दोषियों को गिरफ्तार कर उनके खिलाफ कड़ी कानूनी कार्रवाई की मांग की। सभा को कई वक्ताओं ने सम्बोधित किया इसके बाद अधिवक्ता नारेबाजी करते हुए जुलूस की शक्ल में रवाना हुए और कलेक्ट्रेट पहुंचकर दिल्ली पुलिस के खिलाफ जोरदार प्रदर्शन कर उसके पुतले को आग के हवाले किया। तत्पश्चात एसोसिएशन के पदाधिकारियों के एक शिष्टमंडल ने सक्षम अधिकारी को राष्ट्रपति को सम्बोधित ज्ञापन सौंपा। दिवाकर पांडे व नरेश रस्तोगी ने कहा कि दोषियों के विरूद्ध कार्रवाई की मांग को लेकर जिला बार के समस्त अधिवक्ता सामूहिक अवकाश पर रहकर विरोध प्रकट करेंगे। इस दौरान सिद्धनाथ मिश्रा, शिव कुमार शर्मा, अब्दुल नसीम, धर्मेन्द्र डंग,  राजीव शर्मा, सुनील भगत, प्रीतम अरोरा, गौरव मिड्ढा, सुरेंद्र गिरधर, संतोष कुमार, मनोज ग्रोवर, एमपी तिवारी, मोहन भंडारी, प्रीतम लाल, खडक सिंह, जावेद आलम, एसयू खां व शाहिद हुसैन सहित तमाम अधिवक्ता मौजूद थे। काशीपुर। दिल्ली में अधिवक्ताओं पर हुई लाठीचार्ज के विरोध में तमाम अधिवक्ताओं ने एसडीएम को ज्ञापन सौंपकर कार्रवाई की मांग की। दिये गये ज्ञापन में अधिवक्ताओं ने कहा कि दिल्ली तीस हजारी न्यायालय परिसर में पुलिस ने अधिवक्ताओं पर लाठी चार्ज एवं गोली चलायी तथा उनके वाहनों में तोड़फोड़ की गयी जिसमें कई अधिवक्ता घायल हो गये। उन्होंने कहा कि पुलिस प्रशासन अपनी नाकामी छिपाने के लिए अधिवक्ताओं पर झूठा आरोप लगा रहा है जिससे उनमें रोष है। उन्होंने मांग की कि घायल अधिवक्ताओं को मुआवजा दिया जाये और दोषी पुलिसकर्मियों के खिलाफ कार्रवाई की जाये।ज्ञापन देने वालों में अध्यक्ष धर्मेन्द्र तुली, सचिव गिरजेश खुल्वे, सिंधु आकाश, नरेश कश्यप, मोहित कम्बोज, कमल नयन, शुभम सिंघल,दिवेश पाल, कैलाश बिष्ट, सुखदेव सिंह, पवन कुमार, गौरव मेहरोत्रा, शिवेंद्र पाल, नितिन कुमार आदि थे।

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