पंजाबी महासभा के पदाधिकारियों ने दिये सामूहिक इस्तीफे, संगठन के विलय का ऐलान
रूद्रपुर। पंजाबी महासभा के दोनों गुटों के जिलाध्यक्षों समेत रुद्रपुर महासभा कई पदाधिकारियों ने जिला एवं नगर स्तर पर संगठन के विलय का ऐलान करते हुए अपने पदों से इस्तीफा दे दिया है और दोनों संगठनों से जुड़े पदाधिकारियों और सदस्यों से एकजुट होकर एक मंच के नीचे आने का आहवान किया है। बता दें प्रदेश में दो पंजाबी महासभा चल रही हैं। एक गुट के प्रदेश अध्यक्ष तिलकराज बेहड़ हैं जबकि दूसरे गुट के प्रदेश अध्यक्ष राजीव घई हैं। प्रदेश अध्यक्ष के चुनाव को लेकर पैदा हुए गतिरोध के बाद पंजाबी महासभा में दो फाड़ हो गये थे जिसके बाद प्रदेश इकाई के अलावा जिला और नगर इकाईयों का भी अलग अलग गठन हुआ था। बाद में कई बार पंजाबी महासभा में पैदा हुई इस खाई को पाटने के प्रयास भी हुए लेकिन कोई नतीजा नहीं निकला। अब दोनों गुटों के कई पदाधिकारियों ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया। बेहड़ के नेतृत्व वाली पंजाबी महासभा के जिलाध्यक्ष केवल कृष्ण बतरा और राजीव घई के नेतृत्व वाली में पंजाबी महासभा के जिलाध्यक्ष हरीश जल्होत्रा एवं दोनों संगठनों के पदाधिकारियों ने संयुक्त प्रेस वार्ता में अपने अपने इस्तीफे का ऐलान किया। केवल बतरा और हरीश जल्होत्रा के साथ ही जिला महामंत्री प्रीत ग्रोवर, रूद्रपुर नगर अध्यक्ष सुरेन्द्र मिड्डा, महामंत्री वीरेन्द्र सुखीजा, कोषाध्यक्ष दीपक अरोरा, रूद्रपुर नगर महामंत्री सुरेन्द्र रज्जी, कोषाध्यक्ष मनोज खेड़ा ने भी अपने इस्तीफे की घोषणा की। इस्तीफा देने वाले पदाधिकारियों ने संयुक्त रूप से कहा कि पंजाबी महासभा के दो फाड़ होने का खामियाजा पंजाबी समाज को भुगतना पड़ रहा है। दो संगठनों की वजह से पंजाबी समाज के लोग दो गुटों में बंट रहे हैं और आपसी मतभेद भी लगातार बढ़ते जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि पंजाबी समाज के दो संगठन होने की वजह से समाज एकजुट नहीं हो रहा है जिससे पंजाबी समाज के हित भी कहीं न कहीं प्रभावित हो रहे हैं। केवल कृष्ण बतरा ने कहा कि उन्होंने कई बार दोनों संगठनों को एक करने के लिए कई प्रयास किये लेकिन कोई नतीजा नहीं निकला। जिसके चलते उन्होंने जिलाध्यक्ष पद से इस्तीफा देने का फैसला किया। श्री बतरा ने कहा कि पंजाबी समाज को एकजुट करने के लिए वह अपने स्तर से आगे भी प्रयास जारी रखेंगे। उन्होंने कहा कि समाज हित में जहां भी उनकी जरूरत पड़ेगी वह आगे भी खड़े रहेंगे। उन्होंने कहा कि जिला और नगर स्तर पर दोनों संगठनों का विलय कर दिया गया है। कल गुरू पर्व पर आयोजित होने वाले नगर कीर्तन का स्वागत भी एक मंच पर किया जायेगा। इस कार्यक्रम के साथ ही आगामी कार्यक्रमों के लिए सुरेन्द्र अरोरा रज्जी और सुरेन्द्र मिड्डा को प्रभारी बनाया गया। जिला अध्यक्ष हरीश जल्होत्रा ने कहा कि पंजाबी समाज के लोगों को आज एक मंच पर आने की जरूरत है लेकिन दो संगठनों की वजह से यह संभव नहीं हो पा रहा था। दोनों संगठन होने का खामियाजा पंजाबी समाज को उठाना पड़ रहा था। पंजाबी समाज की एकता कमजोर पड़ती जा रही थी। इसी को देखते हुए उन्होंने जिलाध्यक्ष पद छोड़ने का फैसला लिया है। अब समाज के लोग पंजाबी समाज के हित में जो भी फैसला लेंगे उन्हें मंजूर होगा।