गठबंधन का प्रदेश की राजनीति पर कोई असर नहीं होगाः योगी आदित्यनाथ

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लखनऊ। कुंभ मेला पर इंडिया टुडे के गोलमेज सम्मेलन में सीएम योगी आदित्यनाथ सपा-बसपा के गठबंधन पर बरसे। मायावती और अिखलेश यादव के गठबंधन पर सीएम योगी आदित्यनाथ ने कहा है कि दोनों पार्टियां एक हो गई हैं तो अब राजनीतिक रूप से इन दोनों पार्टियों को निपटाना उनके लिए आसान हो गया है। सीएम योगी आदित्यनाथ ने कहा कि 1993 से 1995 तक इन दोनों दलों की संयुत्तफ सरकार राज्य में थी, इस दौरान कानून-व्यवस्था और अराजकता की क्या स्थिति थी ये राज्य की जनता जानती है। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री ने कहा कि ये दोनों पार्टियां राज्य में पूर्ण बहुमत से अलग अलग सरकारें बना चुकी हैं, इस दौरान इन सरकारों ने जातीय आधार पर समाज को बांटा, जातीय जहर घोला और प्रदेश को दंगों की आग में झोंका। योगी ने कहा कि राज्य की जनता इनकी करतूतों को जानती है। सीएम ने कहा कि यही वो दौर था जब गुंडों और बदमाशों और भ्रष्टाचार का बोलबाला था। योगी आदित्यनाथ ने कहा कि वे पूरे विश्वास से कह सकते हैं कि राज्य की जनता जानती है कि सपा- बसपा गठबंधन का मतलब जातिवादी, भ्रष्टाचारी, गुंडों को सत्ता और जनता को उनके भाग्य के भरोसे पर छोड़ देने जैसा है। सीएम ने कहा कि एक तरफ बीजेपी की विकास और लोक कल्याणकारी योजनाएं हैं तो दूसरी तरफ सपा-बसपा की सरकारों के समय में होने वाली अराजकता, गुंडागर्दी, लूट खसोट और दंगे हैं। योगी ने कहा कि जनता इस गठबंधन का फैसला खुद करेगी। सीएम ने कहा पूरे विश्वास से कहा, मैं इस बात को कह सकता हूं कि इस गठबंधन का प्रदेश की राजनीति पर कोई असर नहीं होने वाला है, अच्छा हुआ दोनों एक हो गए हैं, हमें मदद मिलेगी कायदे से इनको निपटाने में। आदित्यनाथ ने कहा कि आखिर सपा-बसपा ने कौन ऐसा काम किया है जो इनके गठबंधन को जनता वोट देगी। उन्होंने कहा कि बसपा के समय में दो तीन जिले और सपा के समय में पांच जिलों को ही बिजली मिलती थी। उन्होंने कहा कि इनके समय में हाई कोर्ट और सुप्रीम कोर्ट ने नियुत्तिफयों पर रोक लगा रखी थी, क्योंकि अदालतों को भी लगता था कि ये पार्टियां जाति विशेष के लोगों को पैसे लेकर नौकरी देंगी। योगी आदित्यनाथ ने कहा कि उनकी सरकार अबतक सवा लाख भर्तियां कर चुकी हैं। सीएम ने कहा कि जबतक उनकी सरकार के दो साल पूरे होंगे वे प्रदेश के ढाई लाख युवाओं को रोजगार दे चुके होंगे।

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