बैंकों में कामकाज ठप,करोड़ों का कारोबार प्रभावित
रुद्रपुर/काशीपुर। विजया बैंक और देना बैंक के बैंक आफ बड़ौदा में प्रस्तावित विलय एवं वेतन सम्बन्धी समझौते में देरी किये जाने के खिलाफ आज यूनाइटेड फोरम आफ बैंक यूनियन के बैनर तले आज राष्ट्रव्यापी हड़ताल के तहत जनपद के समस्त सरकारी बैंक पूर्णतया बंद रहे जिससे जहां खाताधारकों को परेशानियों का सामना करना पड़ा वहीं करोड़ों रूपए का व्यापार भी प्रभावित हुआ। जिला मुख्यालय में रोषित बैंक कर्मियों ने जोरदार प्रदर्शन कर नगर क े तमाम निजी एवं सहकारी बैंकों को भी बंद कराया जिस कारण काफी देर तक निजी व सहकारी बैंक भी बंद रहे। इससे पूर्व सभी बैंककर्मी पंजाब नेशनल बैंक के समक्ष एकत्र हुए जहां उन्होंने केंद्र सरकार एवं आईवीए के खिलाफ जमकर नारेबाजी की। एसबीआई स्टाफ एसोसिएशन दिल्ली सर्किल के आंचलिक सचिव व स्थानीय बैंक कर्मचारी मंच के अध्यक्ष अजमेर सिंह ने कहा कि सरकार द्वारा मनमाने तरीके से बैंकों का विलय किया जा रहा है जिससे बड़े औद्योगिक घरानों के एनपीए वसूली में परेशानी होगी साथ ही बैंक अधिकारियों व कर्मचारियों के हित प्रभावित होंगे। उन्होंने कहा कि यदि सरकार ने अपना निर्णय वापस नहीं लिया तो बैंककर्मी बेमियादी हड़ताल पर जाने को विवश होंगे। महासचिव अजीत विश्वास ने आईवीए व केंद्र सरकार द्वारा वेतन समझौता लागू न करने पर रोष जताते हुए कहा कि इसके खिलाफ भविष्य में बड़ा आंदोलन प्रारम्भ किया जायेगा। सभा के पश्चात बैंककर्मी नारेबाजी करते हुए जुलूस की शक्ल में रवाना हुए और उन्होंने तमाम निजी व सहकारी बैंकों को भी बंद करवा दिया। प्रदर्शन करने वालों में गिरीश लाल साहा, दिनेश शर्मा, जीवन लाल, भरत प्रकाश, ओमप्रकाश, बलवंत धर्मसत्तू, महेश भट्ट, जितेंद्र सती, अरविंद गुप्ता, विनोद डोकरियाल, हेमंत आर्या, कमल राम, मनोज, एनसी महाजन, रामदयाल बडोनी, महेश बडोनी, एके रक्षित, उदय प्रकाश, नरेश विनाायक, देवदर्शन, ज्ञानचंद, पंकज, स्वाति, कविदयाल, बीडी कांडपाल, केएस हयांकी, डिम्पल शुक्ला, आनंद सिंह आदि शामिल थे। वहीं काशीपुर में भी आज सभी बैंकों में कामकाज पूरी तरह ठप रहा। स्टेट बैंक मुख्य शाखा में आयोजित सभा में वक्ताओं ने कहा कि आज देश के 15लाख से अधिक बैंककर्मी हड़ताल पर हैं। वित्त मंत्रलय व आईवीए अपनी कमियां छिपाने के लिए बैंकों का विलय कर रहा है। उन्होंने कहा कि बैंकिंग कार्य के अलावा केंद्र सरकार ने बैंक कर्मियों पर अन्य कई कार्य भी थोप दिये हैं। नोटबंदी के दौरान बैंकों को काफी नुकसान पहुंचा। इस दौरान स्वतंत्र कुमार, विनोद जोशी, सत्यपाल शर्मा, अजय आर्य, सुभाष शर्मा, अखिल टंडन,रवि कम्बोज आदि ने सम्बोधित किया। इस मौके पर नारीराम, कैलाश गोस्वामी, सुरेंद्र सिंह, जगदीश सिंह, हरिओम, अर्पित सिंह, विनीत, रविन्द्र, देवेंद्र, दिगम्बर सिंह, कैलाश पंत, संजय, सचिन, प्रदीप अरोरा, जीवन सिंह, गिरीश पोखरियाल, जगदीप बिष्ट, गौतम, सुनील, पूरन सिंह, केके पंत, गेाविंद तिवारी, रमेश रावत, नरेंद्र मेहता, राजेंद्र अग्रवाल, आरपी गुप्ता समेत तमाम बैंककर्मी मौजूद थे।