पहाड़ देखने में सुंदर है पर रहने में बढ़ीं तपस्या करनी पड़ती है : बाबा रामदेव
अल्मोड़ा। चौखुटिया के बाखली मैदान में पतंजलि योग समिति के प्रदेश स्तरीय महिला महासम्मेलन का योग गुरु बाबा रामदेव ने दीप जलाकर विधिवत शुभारंभ किया। महासम्मेलन में विभिन्न जिलों से बड़ी संख्या में महिला एवं पुरुष साधक भी पहुंचे हैं। महासम्मेलन में पहुंचने पर योग गुरू बाबा रामदेव का परंपरागत ढंग से स्वागत किया गया। इस अवसर पर योगगुरु बाबा रामदेव ने कहा कि योग को खेलो इंडिया में शामिल कर लिया गया है। अब यह ओलंपिक में भी स्थान बनाएगा। उन्होंने कहा कि योग का दीपक हमेशा जलते रहना चाहिए। पतंजलि का उद्देश्य चिकित्सा की गुलामी से दुनिया को मुकत् करना है। इस दिशा में अभियान चल भी रहा है। पतंजलि योग समिति, भारत स्वाभिमान से लेकर योग संदेश से लेकर वैचारिक गुलामियों से मुकित् दिलाने को तत्पर है। कहा कि चौखुटिया में पूरे हिमालय की नारीशकित् का जुटना गौरव का विषय है। बाबा रामदेव ने कहा कि पूरे देश में लाखों बहनों का जो संगठन है उसको एक मातृत्व की भावना के साथ नेतृत्व देना, सेवा करना नारीशकित् की मिसाल है। अलग अलग प्रांतों में अलग अलग प्रकार की प्रकार की सामाजिक, राजनीतिक, आर्थिक परिस्थितियां हैं चुनौतियां हैं। पहाड़ देखने में सुंदर है पर रहने में बढ़ीं तपस्या करनी पड़ती है। लेकिन जीवन बहुत अच्छा है। देश में महिला पतंजलि समिति इन चुनौतियों से पार पाकर गांव गांव में योग को पहुंचा रहीं। बाबा रामदेव ने कहा कि पतंजलि योगपीठ भारत को सभी दिशाओं से समर्थ बनाना परम वैभवशाली बनाने को संकल्पित है। पतंजलि योगपीठ की चाहे योग की सेवा हो या आर्युवेद अथवा स्वदेश सेवा हो। चाहे अब शिक्षा व चिकित्सा की बात हो, विभिन्न प्रकार की चुनौतियों की बीच सबसे बड़ी सेवा उत्तराखंड में हो रही है। बाबा ने कहा कि सबसे बड़ी सेवा बहनें कर रही हैं, ये गौरव की बात है। योग के क्षेत्र में भाई ;पुरुष साधकद्ध 30 से 40 प्रतिशत सेवा कर रहे हैं तो बहनें 60 से 70 फीसद। इससे पूर्व बच्चों ने योग की विविध विधाओं का प्रदर्शन कर मुग्ध किया।