केन्द्र सरकार ने की अपीलः शांति और सुरक्षा बनायें राज्य,सीएम केजरीवाल पहुंचे सिंघु बाॅर्डर,सपा सुप्रीमो अखिलेश यादव गिरफ्तार
किसानों की जमीन को ना ही लीज पर लिया जायेगा न बंधक बनायेगा ,कांग्रेस ने किया गुमराह: रविशंकर
नई दिल्ली/लखनऊ।;दर्पण ब्यूरोद्ध। कोरोना महामरी के बीच देश में नये कृषि कानूनों को लेकर किसानों का प्रदर्शन 11वें दिन भी जारी रहा। केन्द्रीय गृह मंत्रालय ने एडवाइजरी जारी करते हुए राज्य और केन्द्र शासित प्रदेशों से कहा है कि वे भारत बंद के दौरान किसी भी तरह की अप्रिय घटना को रोकने के साथ ही कानून और शांति-व्यवस्था को बनाए रखें। कृषि कानूनों के खिलाफ आठ दिसम्बर को भारत बंद का ऐलान करने के बीच इस अब मोदी सरकार ने भी विपक्ष पर हमला बोल दिया है। केंद्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद ने कहा कि किसान आंदोलन में गैर विपक्षी दल भी कूद गए हैं। ये लगातार चुनाव हार रहे हैं, इसलिए सरकार के विरोध में खड़े हो जाते हैं और अपने अतीत को भूलते हुए अपने वादे भूल जाते हैं। बीजेपी नेता और केंद्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद ने कहा कि कांग्रेस ने 2014 के मैनिफेस्टो में एपीएमसी एक्ट को समाप्त करेगी। 2014 में कांग्रेस ने अपने मैनिफेस्टो में इंग्लिश में लिखा हैं कि एपीएमसी एक्ट को रिपील करेगी और हिंदी में लिखा कि हम इस कानून में संशोधन करेंगे, जो हम कर रहे हैं। केंद्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद ने कहा, राहुल गांधी ने 2013 में कांग्रेस शासित राज्यों के मुख्यमंत्रियों की बैठक बुलाई थी, जिसमें कहा था कि किसान मंडियों को मुक्त कर देना चाहिए। विपक्ष पर निशाना साधते हुए केंद्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद ने कहा, मैं कानून मंत्री के तौर पर कह रहा हूं कि ना किसानों की जमीन को न बंधक बनाया जायेगा और ना ही लीज पर लिया जायेगा। हमने किसानों को डिजिटल मंडी दी है, जिसमें अभी एक लाख करोड़ का व्यापार होता है। किसानों को भ्रमित करने की कोशिश की जा रही है। पूर्व कृषि मंत्री शरद पवार ने एपीएमसी एक्ट से बदलने से लेकर किसान मंडियों को मुक्त करने के लिए कई मुख्यमंत्रियों को चिट्ट लिखी थी। केंद्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद ने कहा, शरद पवार ने एक इंटरव्यू में कहा था कि एपीएमसी एक्ट में बदलाव किए तो अर्थव्यवस्था पर असर पड़ेगा। अखिलेश यादव आपको याद दिलाऊंगा कि कृषि संबंधित मामलों की संसदीय समिति में आपके पिता और समाजवादियों की अंतिम आवाज मुलायम सिंह यादव ने भी कहा कि किसानों को मंडी कल्चर से बाहर आना जरूरी थी।केंद्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद ने कहा, इन विपक्षी दलों को भले ही किसान संगठन नहीं बुलाते हैं, लेकिन ये फिर भी जाना चाहते हैं। किसानों की आमदनी को बढ़ाने के लिए समय-समय पर अलग-अलग राज्यों ने कांट्रैक्ट फार्मिंग को लागू किया। इसमें अधिकतर कांग्रेस शासित प्रदेश थे। योगेन्द्र यादव ने 2017 में ट्वीट किया था कि एपीएमसी एक्ट में बदलाव क्यों नहीं हो रहा है। वहीं किसान संगठनों की तरफ से 8 दिसंबर को भारत बंद बुलाया गया है। किसानों की तरफ से लगातार यह कहा जा रहा है कि भारत बंद के दौरान शांतिपूर्वक प्रदर्शन किया जाएगा। किसानों की ओर से बुलाए गए भारत बंद का कांग्रेस समेत देशभर के 11 राजनीतिक दलों ने अपना समर्थन दिया है। इस बीच, देशव्यापी बंद को देखते हुए केन्द्र सरकार की तरफ से राज्य और केन्द्र शासित प्रदेशों को एडवाइजरी जारी की गई है। केन्द्रीय गृह मंत्रालय ने एडवाइजरी जारी करते हुए राज्य और केन्द्र शासित प्रदेशों से कहा है कि वे भारत बंद के दौरान किसी भी तरह की अप्रिय घटना को रोकने के साथ ही कानून और शांति-व्यवस्था को बनाए रखें। गौरतलब है कि केन्द्र सरकार की तरफ से सितंबर महीने में कृषि सुधार से संबंधित तीन कानून पास कराए गए हैं। इसके बाद एमएसपी को लेकर किसानों की तरफ से इस कानून का विरोध किया जा रहा है। राजधानी दिल्ली में नए कृषि कानूनों पर प्रदर्शन करने पंजाब-हरियाणा और अन्य राज्यों से आए किसानों का सोमवार को 12वां दिन है। इधर, अब तक पांचवें दौर की किसान संगठनों और केन्द्र सरकार के बीच बातचीत हो चुकी है, लेकिन नतीजा कुछ नहीं निकल सका। 9 दिसंबर को केन्द्र और किसानों के बीच एक और दौर बैठक होने जा रही है। लेकिन, उससे पहले किसानों की तरफ से भारत बंद बुलाया गया है। किसानों ने धमकी दी है कि अगर उनकी बातें केन्द्र ने नहीं मानी तो आने वाले दिनों में यह आंदोलन और तेज किया जाएगा। वहीं मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल सिंघू बाॅर्डर पर पहुंचे। केजरीवाल के साथ उप-मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया समेत उनकी कैबिनेट के मंत्री भी मौजूद थे। सिंघू बार्डर पर दिल्ली सरकार की ओर से पानी के लिए दिल्ली जल बोर्ड के टैंकर लगाए गए हैं, बायो टायलेट और लंगर की व्यवस्था भी की गई है। मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने कहा हमारी पूरी सरकार, विधायक, पार्टी के कार्यकर्ता, और मैं खुद, हम सब लोग एक सेवादार की तरह किसानों की सेवा में लगे हुए हैं। आज मैं मुख्यमंत्री के तौर पर नहीं आया हूं, एक सेवादार के तौर पर आया हूं। किसानों की सेवा करने के लिए आया हूं। किसान 24 घंटे मेहनत करके खून पसीना बहा कर हमारी सेवा कर रहे हैं। आज किसान मुसीबत में है हम सब देशवासियों का फर्ज है कि किसानों के साथ खड़े हो और उनकी सेवा करें। इससे पूर्व आज कृषि कानून के खिलाफ लखनऊ में दंगल जारी है। किसान यात्रा की शुरुआत करने कन्नौज जा रहे समाजवादी पार्टी के मुखिया और यूपी के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव को हिरासत में ले लिया गया है। प्रशासन ने पहले लखनऊ में उनके घर के बाहर बैरिकेडिंग की थी, जिसके बाद अखिलेश पास में ही धरने पर बैठ गए थे। लेकिन अब उन्हें हिरासत में लिया गया है, अखिलेश का आरोप है कि प्रशासन ने उनकी गाड़ियों को जब्त कर लिया है। अखिलेश यादव को हिरासत में लिए जाने के बाद ईको गार्डन भेजा जा रहा है, जहां उन्हें कस्टडी में रखा जाएगा।तमाम विरोध के बावजूद अखिलेश यादव कन्नौज के लिए पैदल ही रवाना हो रहे हैं और सड़क पर ही धरने पर बैठ गए हैं। अखिलेश यादव ने कहा कि अगर किसानों के लिए बने कानून से किसान ही खुश नहीं हैं, तो फिर सरकार इन्हें वापस ले। किसानों की आवाज को सरकार सुन नहीं रही है। अखिलेश यादव ने कहा कि उनके कार्यकर्ता प्रदेश के कई जिलों में गिरफ्तारियां दे रहे हैं, लेकिन हमें अब कन्नौज नहीं जाने दिया जा रहा है। अगर इन्हें जेल में डालना है, तो ये हमें भी जेल में डाल सकते हैं। अखिलेश यादव ने कहा कि मैं कन्नौज जा रहा हूं, गाड़ी रोक दी गई है लेकिन जहां तक हो सकेगा मैं पैदल ही चल दूंगा। अखिलेश ने कहा कि सरकार ने किसानों की दोगुनी आय करने का वादा किया था, लेकिन आज किसानों को बर्बाद करने वाला कानून लाया गया है। अखिलेश यादव ने इसी मसले पर तंज कसते हुए शायरी ट्वीट की और सरकार पर निशाना साधा। अखिलेश यादव ने ट्वीट कर लिखा, ‘जहां तक जाती नजर वहां तक लोग तेरे खिलाफ हैं, ऐ जुल्मी हाकिम तू किस-किस को नजरबंद करेगा!’