खाई में गिरा स्कूली वाहन नौ बच्चों की मौत, नौ घायल
नई टिहरी(उद सहयोगी)। स्कूल वाहन के कंगसाली के समीप करीब दो सौ मीटर गहरी खाई में गिरने से उसमें सवार नौ बच्चों की मौत हो गई, जबकि नौ घायलों को प्राथमिक उपचार के बाद जिला अस्पताल भेजा गया है। यह सभी बच्चे कंगसाली गांव के थे, जो मदननेगी में एक अंग्रेजी स्कूल में पढ़ते थे। चंबा पुलिस लाइन से यहां हेलीकाप्टर पहुंचे और एयर लिफ्ट कर तीन गंभीर घायल बच्चों को एम्स ऋषिकेश रेफर किया गया। घटनास्थल जिला मुख्यालय से करीब 40 किमी दूर है। मंगलवार सुबह करीब 7ः30 बजे प्रतापनगर के कंगसाली से मननेगी जा रही स्कूल मैक्स वाहन (संख्या यूए07क्यू- 3126) कंगलसाली के पास अनियंत्रित होकर गहरी खाई में जा गिरी। इसमें सवार ऋषभ (5 वर्ष) पुत्र जस्सी, अयान (4 वर्ष) पुत्र अतर सिंह, आदित्य (8 वर्ष) पुत्र अरविंद, विहान (5 वर्ष) पुत्र अजयपाल सिंह, इशान (6 वर्ष) पुत्र दर्मियान, अभिनव (6 वर्ष) पुत्र सोबन सिंह, साहिल (13 वर्ष) पुत्र विशन सिंह, आदित्य (10 वर्ष) पुत्र अरविंद, वंश (5 वर्ष) पुत्र प्रवीन सिंह सभी निवासी कंगसाली गांव की मौत हो गई। वहीं नौ घायल बच्चों को जिला अस्पताल में भर्ती कराया गया। गंभीर घायलों में अिखलेश चैहान (7 वर्ष), सूरज चैहान (8 वर्ष), आशीष सेमवाल (10 वर्ष), प्रिंस (9 वर्ष), कृष्णा (6 वर्ष) व कान्हा (8 वर्ष) पुत्र उमेद सिंह को एम्स ऋषिकेश रेफर किया गया। वाहन में करीब 18 बच्चे सवार बताए जा रहे हैं। मौके पर पहुंचे एसडीएम अजयवीर ने बताया कि घायलों को जिला अस्पताल भिजवाया गया है। प्रशासन ने शासन से हेलीकाप्टर की मांग की, जिस पर चंबा पुलिस लाइन से हेलीकाप्टर पहुंचा और तीन गंभीर घायल बच्चों को एम्स ऋषिकेश रेफर किया गया। वहीं तहसीलदार एसडी चैरसिया व थानाध्यक्ष लंबगांव विनोद राणा पुलिस पफोर्स के साथ मौके पर पहुंचे और घायलों को अस्पताल भर्ती कराया। वाहन को लक्ष्मण रतूड़ी पुत्र प्रेमदत्त निवासी रिंडोल चला रहा था। हादसे का शिकार हुई मैक्स गाड़ी देहरादून में पंजीकृत है। वाहन का मालिक का नाम कुंवर सिंह है, जबकि गाड़ी किसी और संचालक के पास थी। गाड़ी 10 सीट में पास है। गाड़ी की फिटनेस 19 फरवरी 2020, परमिट 12 जनवरी 2021, जबकि बीमा 29 नवंबर 2019 तक वैध है। टिहरी एआरटीओ कार्यालय की तकनीकी टीम हादसे की जांच के लिए घटनास्थल रवाना हो गई है। परिवहन विभाग के अनुसार गाड़ी को ओवरलोड नहीं माना जा सकता, क्योंकि उसमें अधिकतर 5-6 साल से कम के बच्चे सवार थे।