प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ‘स्टैच्यू ऑफ यूनिटी’ पर अर्पित की पुष्पांजलि : जम्मू कश्मीर मेंअनुच्छेद-370 को हमेशा-हमेशा के लिए जमीन में गाड़ दिया गया है।

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नई दिल्ली(उद संवाददाता)। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने राष्ट्रीय एकता दिवस के अवसर पर सरदार वल्लभभाई पटेल को श्रद्धांजलि दी। प्रधानमंत्री ने गुजरात के केवड़िया में स्थित ‘स्टैच्यू ऑफ यूनिटी’ पर जाकर पुष्पांजलि अर्पित की। एकता दिवस के अवसर पर केवड़िया में रंगारंग सांस्कृतिक कार्यक्रम का आयोजन किया गया। इसके अलावा सैन्य परेड का भी आयोजन किया गया। इस अवसर पर पीएम मोदी ने लोगों को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा इस बार का राष्ट्रीय एकता दिवस अद्भुत संयोग लेकर आया है। एक तरफ आज हम एकता का उत्सव मना रहे हैं, वहीं दूसरी ओर दीपावली का पावन पर्व है। अब तो दीपावली का पर्व भारत को दुनिया से भी जोड़ रहा है और अनेक देश इसे राष्ट्रीय उत्सव की तरह मना रहे हैं। आज हमारे सामने एक ऐसा भारत है जिसके पास विजन भी है, दिशा भी है और संकल्प भी। ऐसा भारत जो सशक्त भी है और समावेशी भी, जो संवेदनशील भी है और सतर्क भी, जो विनम्र भी है और विकास की राह पर भी, जो शक्ति और शांति, दोनों का महत्व जानता है। प्रधानमंत्री ने आगे कहा दुनिया में जब बहुत उथल-पुथल मची हुई है, तब सबसे तेज गति से विकास करना सामान्य नहीं है। युद्ध के दौरान बुद्ध के संदेशों का संचार करना सामान्य नहीं है। जब दुनिया के अलग-अलग देशों में संबंधों का संकट हो, तब भारत का विश्वबंधु के रूप में उभरना सामान्य नहीं है। जब दुनिया में एक देश से दूसरे देश की दूरियां बढ़ रही हैं, तब दुनिया के देश भारत के करीब आ रहे हैं। ये सामान्य नहीं है, ये एक नया इतिहास रचा जा रहा है। आज दुनिया देख रही है कि भारत कैसे दृढ़ संकल्प के साथ अपनी समस्याओं का समाधान कर रहा है। जम्मू कश्मीर से अनुच्छेद 370 हटाने पर बोलते हुए पीएम मोदी ने कहा कि आजादी के सात दशक बाद देश में एक देश और एक संविधान का संकल्प भी पूरा हुआ है। सरदार साहब को मेरी ये सबसे बड़ी श्रद्धांजलि है। 70 साल तक बाबा साहेब अंबेडकर का संविधान पूरे देश में लागू नहीं हुआ था। संविधान की माला जपने वालों ने संविधान का ऐसा घोर अपमान किया था। कारण था, जम्मू कश्मीर में अनुच्छेद-370 की दीवार। अनुच्छेद-370 को हमेशा-हमेशा के लिए जमीन में गाड़ दिया गया है। पहली बार वहां इस विधानसभा चुनाव में बिना भेदभाव के मतदान किया गया। पहली बार वहां के मुख्यमंत्री ने भारत के संविधान की शपथ ली है। ये दृश्य भारत के संविधान निर्माताओं को अत्यंत संतोष देता होगा और ये संविधान निर्माताओं को हमारी विनम्र श्रद्धांजलि है। प्रधानमंत्री ने कहा आज स्थिति ऐसी है कि एकता की बात करना भी गुनाह हो गया है। एक समय था जब हम स्कूल, कॉलेज, घर और बाहर बड़े गर्व के साथ एकता के गीत गाते थे। अगर आज कोई ये गीत गाएगा तो अर्बन-नक्सल के लोग उसे गाली देने का मौका निकाल लेंगे और अगर आज कोई कह दे कि हम एक हैं तो हम सुरक्षित हैं तो ये लोग इसे भी गलत तरीके से परिभाषित करना शुरू कर देंगे। हमें ऐसे लोगों, ऐसी सोच, ऐसी प्रवृत्तियों, ऐसे रवैये से पहले से ज्यादा सतर्क रहने की जरूरत है। प्रधानमंत्री ने आगे कहा कि भारत की बढ़ती ताकत के साथ, भारत में एकता की बढ़ती भावना के साथ, कुछ ताकतें हैं, कुछ विकृत विचार हैं, कुछ विकृत मानसिकता है, कुछ ताकतें हैं जो बहुत परेशान हैं। भारत के अंदर और भारत के बाहर ऐसे लोग भारत में अस्थिरता और अराजकता फैलाने की कोशिश कर रहे हैं। वे भारत के आर्थिक हितों को नुकसान पहुंचाने में लगे हुए हैं।

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